2024 से पहले विपक्ष में दरार! अध्यादेश पर AAP ने कांग्रेस को सुना दी खरी-खरी

Opposition Patna Meeting: बिहार (Bihar) के पटना (Patna) में हुई विपक्ष की बड़ी बैठक से बीजेपी (BJP) विरोधियों के लिए अच्छी खबर नहीं है. दरअसल, 2024 के लोकसभा चुनाव (Lok Sabha Polls) से पहले विपक्षी दलों की एकजुटता को लेकर चलाई जा रही मुहिम फीकी पड़ती दिख रही है. दिल्ली और पंजाब में धुर विरोधी कांग्रेस (Congress) और आम आदमी पार्टी (AAP) के एक साथ आने पर पेंच फंस गया है. अरविंद केजरीवाल की पार्टी आप ने शर्त रख दी है कि जब तक कांग्रेस केंद्र के अध्यादेश के मुद्दे पर अपना रुख साफ नहीं करेगी तब तक वह विपक्षी पार्टियों के इस गठबंधन का हिस्सा नहीं बन सकती है. आप की दिल्ली और पंजाब में सरकार है.

पटना में लगा विपक्षियों का जमघट

बता दें कि आज पटना में विपक्षी नेताओं का जमघट लगा था. इस बैठक में लोकसभा चुनाव 2024 में बीजेपी की जीत का रथ रोकने सहित कई अहम मुद्दों पर चर्चा हुई. विपक्षी दलों की इस मीटिंग में 15 से ज्यादा पार्टियों के करीब 30 नेता शामिल हुए. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, ममता बनर्जी, मल्लिकार्जुन खड़गे, अरविंद केजरीवाल और उमर अब्दुल्ला भी पटना की बैठक में शामिल हुए.

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विपक्षी दलों की एकता को झटका!

मीटिंग खत्म होने के बाद विपक्षी नेताओं ने जॉइंट प्रेस कॉन्फ्रेंस भी की, लेकिन हैरानी की बात है कि उसमें दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल नहीं दिखे. इस बीच, आप की तरफ से एक और बयान जारी किया गया. आप के इस बयान को विपक्षी एकता के लिए झटका माना जा रहा है.

कांग्रेस के सामने AAP ने रखी शर्त

आम आदमी पार्टी ने बयान जारी करके कहा कि अब तक कांग्रेस ने अध्यादेश के मामले पर अपना रुख स्पष्ट नहीं किया है. उसको टीम प्लेयर बनने में हिचक हो रही है. इस वजह से आप का ऐसे गठबंधन का भाग बनना मुश्किल है, जिसमें कांग्रेस शामिल हो. कांग्रेस जब तक सार्वजनिक तौर पर अध्यादेश की आलोचना नहीं करती और ऐलान नहीं करती कि उसकी पार्टी के सारे 31 राज्यसभा सदस्य सदन में अध्यादेश के खिलाफ खड़े होंगे, आप गठबंधन में वहां कांग्रेस के रहते शामिल नहीं हो सकती.

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